बालू माफियाओं पर सख्ती, 4 महीने में 301 एफआईआर, वूसला गया 256 लाख जुर्माना

अप्रैल 2024 से लेकर जुलाई तक अवैध बालू खनन के 301 मामलों में एफआईआर दर्ज किया गया है. अवैध खनन करने वालों से 256.62 लाख रुपये जुर्माना वसूला गया है.

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रांची : झारखंड में बालू का अवैध कारोबार और तस्करी बेरोकटोक जारी है. मॉनसून अवधि में एनजीटी की रोक बावजूद बालू घाटों से बालू का अवैध खनन जारी है. वहीं सरकार भी बालू माफियाओं से सख्ती से निपट रही है. अप्रैल 2024 से लेकर जुलाई तक (चार महीने में) बालू का अवैध खनन करने वालों के खिलाफ राज्यभर में कार्रवाई की गई है. अबतक 301 मामलों में एफआईआर दर्ज किया गया है और अवैध खनन करने वालों से 256.62 लाख रुपये जुर्माना वसूला गया है. साथ ही 1189 वाहन जब्त किये गये हैं. वहीं 2019 से अबतक 3500 से अधिक एफआईआर दर्ज किये गये हैं.

एनजीटी की रोक के बावजूद नदियों से निकला जा रहा बालू

राज्यभर में ए केटेगरी के 427 और बी कैटेगरी के 444 बालू घाट हैं. सभी जिलों के डीसी की अध्यक्षता में बनी जिला टास्क फोर्स (खनन) इन बालू घाटों की निगरानी करती है. इन बालू घाटों से सिर्फ लाइसेंस प्राप्त लोग ही बालू का उठाव कर सकते हैं. इसके बावजूद खनन माफिया इन बालू घाटों से चोरी-छिपे सैकड़ों ट्रक बालू निकाल रहे हैं. एनजीटी ने 10 जून से 15 अक्टूबर तक नदियों से बालू के खनन पर रोक लगाई है, लेकिन खनन माफिया बेखौफ होकर नदियों से बालू निकालने में लगे हैं.

पिछले 6 वर्षों में हुई कार्रवाई

वित्तीय वर्ष    जब्त वाहन    FIR  वसूली गई राशि

2019-20           2237        448         172.75

2020-21           3217        448         346.04

2021-22           2608        441         417.62

2022-23           3574        875         595.78

2023-24           3459        1048        556.6

2024-25           1189        301         246.62

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