भैरव सिंह की मां का आरोप: बेटे को है रांची SSP से जान का खतरा, बाबूलाल बोले- कान खोलकर सुन लें पुलिस अधिकारी...
- Posted on July 31, 2025
- झारखंड
- By Bawal News
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Ranchi: हिंदूवादी संगठनों से जुड़े रांची के सामाजिक कार्यकर्ता भैरव सिंह की मां ने रांची एसएसपी चंदन सिन्हा पर गंभीर आरोप लगाये हैं. रांची प्रेस क्लब में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रानी देवी ने कहा कि जिला प्रशासन बेवजह उनके बेटे को परेशान कर रही है. झूठे आरोपों में भैरव को जेल भेजा गया है. मुख्यमंत्री के इशारे पर एसएसपी भैरव के खिलाफ एफतरफा कार्रवाई कर रहे हैं. जिस मामले में गैरव सिंह को जेल भेजा गया उसी मामले में 30 मई को भैरव सिंह द्वारा आईजी कार्यालय में आवेदन दिया गया था, जिसमें उन्होंने सीसीटीवी फुटेज की जांच की मांग की थी. उस फुटेज में स्पष्ट रूप से दिखाई देता है कि शिकायतकर्ता अमन चंद्र के साथ मारपीट करने वाले असली आरोपी कौन हैं. इसके बावजूद कोई जांच नहीं की गई और दो महीने बाद, जब भैरव सिंह एक नाबालिग बच्ची के लव जिहाद से जुड़े मामले में पंडरा थाना पहुंचे, तो अचानक उनकी गिरफ्तारी कर ली गई और 19 तारीख को उन्हें जेल भेज दिया गया.
मामले की CBI जांच की मांग
उन्होंने कहा कि 25 तारीख को रांची ग्रामीण क्षेत्र में एक युवती पर पेट्रोल फेंकने की घटना के बाद, पुलिस ने युवती को थाने में बैठाकर 24 घंटे से अधिक समय तक प्रताड़ित किया और दबाव डाला. युवती ने बयान दिया कि प्रशासन उसे मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहा है और अपराधियों को बचाने की कोशिश कर रहा है. इसके बाद, युवती के प्रेमी गणेश सिंह को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया, लेकिन पुलिस ने बयान दिया कि यह हमला भैरव सिंह ने करवाया था, जबकि भैरव सिंह को 19 तारीख को ही जेल भेजा जा चुका था. रानी देवी ने कहा कि अगर भैरव सिंह को कुछ होता है तो इसकी पूरी जिम्मेदारी एसएसपी चंदन सिन्हा की होगी. प्रेस कॉन्फ्रेंस में बजरंग दल, विश्व हिंदू परिषद के भी प्रतिनिधि मौजूद थे. उन्होंने पूरे मामले की CBI से जांच कराने की मांग की.
भैरव को फर्जी मुकदमे में फंसाने की तैयारी: बाबूलाल
उधर बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने इस मामले को लेकर अपने एक्स प्रोफाइल पर एक पोस्ट किया. उन्होंने लिखा, “हेमंत सरकार अपने विरोधियों, विशेषकर हिंदू समाज से जुड़े लोगों को साजिश के तहत फर्जी मुकदमों में फंसा कर जेल भेजने का प्रयास करती रही है. पिछले साढ़े पांच वर्षों में ऐसे कई उदाहरण सामने आ चुके हैं, जहां निर्दोष लोगों को राजनीतिक दुर्भावना से प्रेरित होकर षड्यंत्र का शिकार बनाया गया है. इसी कड़ी में एक बार फिर रांची के युवा भैरव सिंह को एक नये फर्ज़ी मुकदमे में फंसाने की तैयारी की जा रही है. भैरव सिंह से जुड़े जो तथ्य सामने आ रहे हैं, वे प्रथम दृष्टया संदेहास्पद प्रतीत हो रहे हैं.
युवाओं का भविष्य बर्बाद होने से बचाएं हेमंत
बाबूलाल ने आगे कहा “सरकार के इशारे पर षड्यंत्र करने वाले पुलिस अधिकारी कान खोलकर सुन लें कि आम जनता को झूठे मामले में फंसा कर जेल भेजना जितना आसान है, उसे न्यायालय में साबित करना उतना ही मुश्किल है. बेहतर होगा कि कानूनी दुष्परिणाम भुगतने से पहले ही लोगों को फंसाने से परहेज किया जाए. हेमंत सोरेन जी, झारखंड की जनता कानून का सम्मान करती है और न्यायप्रिय है. वह न तो आपकी तरह ग़लत काम करने और मुकदमेबाजी में निपुण है, और न ही आपकी तरह मंहगे वकीलों के दम पर जांच एजेंसियों की जांच को लटकाने-भटकाने में... इसलिए आपसे आग्रह है कि पूर्वाग्रह छोड़कर इस पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करें और राज्य के युवाओं का भविष्य बर्बाद होने से बचाएं.“
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