होली से रामनवमी तक सोच-समझकर करें सोशल मीडिया पर पोस्ट, भड़काऊ गाना बजाने पर भी होगी कार्रवाई. सीएम का है निर्देश

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रांची : अगले कुछ दिनों में होली, ईद, सरहुल और रामनवमी जैसे पर्व-त्योहार आने वाले हैं. इसे लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पुलिस अफसरों के साथ बैठक की और उन्हें यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि त्योहारों में महौल न बिगड़े. सीएम ने पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिया कि होली, सरहुल, ईद, रामनवमी त्योहारों के मद्देनजर राज्य में बेहतर विधि व्यवस्था का संधारण हर हाल में सुनिश्चित करें. मुख्यमंत्री ने पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिया कि चिन्हित संवेदनशील क्षेत्रों में शांति समिति के साथ निरंतर बैठक कर समन्वय स्थापित करें. भीड़-भाड़ वाले जगहों, धार्मिक स्थलों पर पुलिस बल की तैनाती करें तथा शरारती तत्वों पर पैनी नजर रखते हुए कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित करें। कहा कि पर्व-त्योहारों के समय सोशल मीडिया पर भी कड़ी निगरानी रखें। अफवाह फैलाने वालों पर सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करें। साथ ही भड़काउ गाने बजाने वालों पर कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

 

आपसी सौहार्द न बिगड़े : सीएम

सीएम ने कहा कि पर्व-त्योहारों का उत्सव अपराधमुक्त वातावरण में आपसी प्रेम-सौहार्द के साथ मनाया जाना चाहिए. मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के किसी भी क्षेत्र में किसी भी प्रकार से कोई छोटी-मोटी अप्रिय घटना, सांप्रदायिक तनाव अथवा विवाद की स्थिति उत्पन्न न हो. इसके लिए पुलिस पूरी मुस्तैदी के साथ अलर्ट मोड पर रहे. मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन क्षेत्रों में सांप्रदायिक तनाव अथवा विवाद की संभावनाएं रहती है, उन क्षेत्रों में विशेष चौकसी बरती जाए. बैठक में मुख्यमंत्री के सामने डीजीपी अनुराग गुप्ता ने अपराध नियंत्रण को लेकर किए जा रहे कार्यों की जानकारी दी।

 

मुख्यमंत्री के महत्वपूर्ण निर्देश

 

होली, ईद, रामनवमी, सरहुल में अपेक्षित निरोधात्मक कार्रवाई सुनिश्चित की जाए.

विधि-व्यवस्था बनाये रखने के लिए पर्याप्त मजिस्ट्रेट और बलों की उपलब्धता हो.

धार्मिक स्थलों के आस-पास सीसीटीवी लगायें और इलेक्ट्रोनिक सर्विलास की व्यवस्था की जाए.

जुलूस मार्गो का भौतिक सत्यापन सुनिश्चित किया जाए.

जुलूस मार्गों में पड़ने वाले संवेदनशील स्थानों में मजिस्ट्रेट और पुलिस बल की प्रतिनियुक्ति हो.

संवेदनशीह स्थानों की विडियोग्राफी और ड्रोन से एरियल सर्विलांस की व्यवस्था की जाए.

जुलूस के साथ मजिस्ट्रेट और सुरक्षा बलों की प्रतिनियुक्ति एवं QRTS की व्यवस्था की जाए.

जुलूस मार्गों में लगातार प्रकाश और पब्लिक संबोधन सिस्टम की व्यवस्था की जाए.

संयुक्त नियंत्रण कक्ष और आपातकालीन योजना सुनिश्चित की जाए.

जिलों में दंगा रोधी सुरक्षा उपकरणों, दंगा रोधी वाहन, वॉटर केनन की उपलब्धता हो.

एंटी रॉयट कन्ट्रोल ड्रील की व्यवस्था की जाए.

अवैध मादक पदार्थों/शराब के विरूद्ध छापेमारी की जाए.

डीजे और अन्य साउण्ड सिस्टम द्वारा उत्तेजक भडकाउ गानों के प्रसारण पर रोक के लिए कार्रवाई की जाए.

पर्व-त्योहार के दौरान आपातकालीन चिकित्सा व्यवस्था की उपलब्धता रहे.

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